अब दिल्ली की 60 हजार महिलाओं की पेंशन बंद: किसकी साजिश, कौन जिम्मेदार?
किसकी साजिश दिल्ली की 60 हजार से ज्यादा महिलाओं की पेंशन बंद
नई दिल्ली द इनसाइड ख़बर, दिल्ली की कई जरूरतमंद महिलाओं को अब पेंशन नहीं मिलेगी? वर्ष 2007 से दिल्ली की महिलाओं जैसे विधवा, तलाकशुदा और निराश्रित को दिल्ली सरकार एक पेंशन देती है. इस योजना के तहत अभी तक लगभग 4.25 लाख से ज्यादा महिलाएं पेंशन ले रही थी. लेकिन अब सरकार ने 60 हजार से ज्यादा महिलाओं को इसके अयोग्य घोषित कर दिया है. वर्ष 2007 जब तत्कालीन शीला दीक्षित सरकार ने इस योजना की शुरूआत की थी तब से ये पेंशन पात्र या इस कैटेगरी में आने वाली सभी महिलाओं को मिल रही थी.![]() |
प्रतीकात्मक तस्वीर |
किसको मिलेगी पेंशन
इस योजना के लिए महिला को कम से कम पांच से दिल्ली का निवासी होना जरूरी था और इसके अंतर्गत आयु सीमा 18 से 60 वर्ष रखी गई थी. अन्य शर्त थी महिला की पारिवारिक आय सालाना एक लाख से कम होनी चाहिए. नवंबर 2024 में आम आदमी पार्टी सरकार के समय पात्र महिलाओं के सत्यापन का कार्य आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं के द्वारा शुरू किया गया था, जो अब पूरा हुआ है, इस सत्यापन के दौरान इसमें कई विसंगतियां सामने आई हैं. कई विधवा या तलाकशुदा महिला पुन:शादी कर चुकी हैं लेकिन उन्होंने इसकी सूचना को महिला और बाल विकास विभाग के पास अपडेट नहीं किया है.
हर साल करना होता है अपडेट
जबकि हर साल एक घोषणा पत्र देना हर लाभार्थी को देना होता है उसमें साफ उल्लेख होता है कि उसकी अहर्ता इस योजना के लिए बनी हुई है. इसके अलावा अलावा कई महिलाएं अब एक अच्छी आजीविका कमाने लगी हैं, कुछ महिलाएं अपने रजिस्टर्ड पते पर अब नहीं रहती या स्थाई रूप से दिल्ली छोड़ चुकी हैं. इन सभी महिलाओं को इस सूची से हटा दिया गया है, अब ये पेंशन लगभग 3.65 लाख महिलाओं को ही दी जा रही है.
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ये घोषणा हर साल करनी पड़ती है |
क्या रेखा गुप्ता सरकार इसके लिए जिम्मेदार है?
पांच महीने पुरानी रेखा गुप्ता सरकार तमाम विपक्ष जन विरोधी, गरीब विरोधी और महिला विरोधी बता रहा है, ऐसे में 60 हजार महिलाओं की पेंशन बंद होने पर एक बार फिर भाजपा और रेखा गुप्ता को विपक्ष जरूर घेरेगा. सबसे पहले यहां ये जानना जरूरी हो जाता है कि ये सत्यापन पूर्व आम आदमी पार्टी सरकार के समय आरंभ करवाया गया था तब दिल्ली की मुख्यमंत्री आतिशी थी. दूसरा पहलू ये है कि इस योजना को खत्म या बदला नहीं गया है, 2007 या उसके बाद बन कई प्राविधानों के तहत ही अयोग्य को हटाया गया है. इसमें कई ऐसे मामले भी होंगे जिसमें महिला कई वर्ष पहले शादी कर चुकी होंगी और उसके बाद भी योजना का लाभ गलत तरीके से ले रही होंगी.
विपक्ष को मिला एक नया मुद्दा
अब इस पर एक बार फिर सियासी खेल होना तय है, बिहार विधानसभा चुनाव के मद्देनजर इस मुद्दे को विपक्ष जोर शोर से उठाएगा. अभी दिल्ली में तोड़ी जारी झुग्गियों को लेकर राजनीति तेज है, अभी 29 जून 2025 को एक बड़ी रैली आम आदमी पार्टी ने जंतर मंतर पर के की थी और इस मुद्दे को पूर्वांचल के लोगों से सीधा जोड़ा था वहां आम आदमी पार्टी को मद्रासी कैंप में रहने वाले साउथ के लोगों की याद नहीं आए थी. इस मुद्दे पर भी ऐसा ही कुछ होना तय है.
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